*दवा खरीदने के लिए घर से मिले पैसो से बच्चों को दिलवाया चप्पल,बच्चों में खुशी*
ओबरा।ओबरा अंतर्गत सड़क पर सुबह से लेकर शाम तक आपको सैकड़ो नाबालिक बच्चे बच्चियां जिनके अभी पढ़ने के उम्र है वह बाजार मंदिर व आस-पास क्षेत्र में भीख मांगते व कबाड़ बिनते या मजदूरी करते दिख जायेंगे कही ना कही इनकी मज़बूरी हैं इनके मा बाप भी मजदूरी करके अपना जीविकोपार्जन करते हैं मज़बूरी में धन के आभाव में पढ़ा लिखा नहीं पाते और जिस उम्र में बच्चों को कॉपी किताब खिलौना से खेलना चाहिए उस उम्र में घर का जिम्मेदारी उठा कर पैसा कमाने चल देते हैं।इसी तरह इस 45 डिग्री तापमान कड़ी धुप में नंगे पाव कबाड़ बीनने वाले ओबरा भलुवा टोला निवासी शनिवार को 3 बच्चों पर एक दयावान स्त्री की नजर पड़ी जो मेडिकल स्टोर पर अपनी दवा लेने के लिए खड़ी थी उन्होंने इन बच्चों के बार बार पैर एक दूसरे पैर पर जलन की वजह से रखता देख हृदय पसीझ गया और दुःखी हुई और फ़ौरन अपनी आवश्यक दवा मेडिकल स्टोर पर वापस कर नजदीक दुकान पर जाकर तीनों बच्चों को पहने हेतु चप्पल दिलवाया साथ ही भूखे थे उन लोगों को खाने हेतु पैसा भी दिया और उन लोगों से कहा बेटा आप सभी बिना चप्पल पहने घर से किसी भी काम हेतु न निकला करें और आप सब पढ़ाई करें।जिसके बाद बच्चों ने इस सहयोग के बदलने खुशी जो जाहिर की वह दयावान स्त्री को सुकून दिया उसके बाद इस तरह के बच्चों के लिए सरकार से मदद करने हेतु आग्रह किया और मौके पर उपस्थित पत्रकार से विभाग का नंबर लेकर उनको मामले से अवगत कराया उम्मीद हैं विभाग जल्द जगेगा और इस तरह के बच्चों को चिन्हित करके उनको शासन द्वारा मिलने वाले योजनाओं का लाभ दिलवायेगा लाभ देगा।